बसंत ऋतु का आगमन  VIPIN KUMAR TYAGI

बसंत ऋतु का आगमन

VIPIN KUMAR TYAGI

आई रे, आई रे, बसंत ऋतु आई रे,
फूलों पर बहार आई रे,
पतझड़ के बाद पौधों पर बहार आई रे,
आई रे, आई रे, बसंत ऋतु आई रे।
 

चारों तरफ हरियाली ही हरियाली है,
आम के पेड़ों पर भी बौंर आई रे,
फूलों के पौधों पर भी बहार आई रे,
आई रे, आई रे, बसंत ऋतु आई रे।
 

चरों तरफ फूलों की खुशबू ही खुशबू आई रे,
हर पेड़ पौधे पर बहार आई रे,
लगता है ईश्वर ने प्रकृति दुल्हन की तरह सजाई रे,
कीट पतंगों की भी बहार आई रे,
आई रे, आई रे, बसंत ऋतु आई रे।
 

सभी के चेहरों पर मुस्कान लाई रे,
किसानों की फसल भी पक कर तैयार हो आई रे,
प्रकृति चारों तरफ से हर चेहरे पर मुस्कान लाई रे,
सर्द मौसम के बाद सुहावने मौसम की सौगात आई रे,
आई रे, आई रे, बसंत ऋतु आई रे।

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